- मुंबई । जियो नए उत्पादों और तकनीक से उपभोक्ताओं को लुभाने की तैयारी में है। कंपनी द्वारा उपभोक्ताओं को सभी प्लेटफॉर्म पर निर्बाध टीवी, डेटा, वॉयस और मोबाइल सेवाएं दी जाएंगी। इस कार्य़ के लिए रिलायंस जियो अगले 2-3 साल में देश के 5 करोड़ घरों तक ऑप्टिकल फाइबर पहुंचाने के लिए 50,000 करोड़ रुपए निवेश कर रही है।
कंपनी के करीबी सूत्रों का कहना है कि यह दुनिया में अपनी तरह का सबसे बड़ा नेटवर्क है। कंपनी का लक्ष्य यह सुनिश्चित करना है कि उपभोक्ता हर महीने औसतन 500 जीबी से अधिक डेटा का इस्तेमाल करे। यह आंकड़ा उपभोक्ताओं द्वारा मोबाइल पर इस्तेमाल किए जाने वाले डेटा से करीब 200 गुना ज्यादा है।
कंपनी ने अभी तक अपनी सेवाओं की घोषणा नहीं की है लेकिन इनकी व्यावसायिक शुरुआत इस साल के अंत में होगी। इस नेटवर्क के जरिए उपभोक्ताओं को 1 गीगाबिट प्रति सेकंड तक की स्पीड मुहैया की जाएगी। देश में अभी 1.8 करोड़ घर ही फिक्स्ड ब्रॉडबैंड से जुड़े हैं और फाइबर ब्रॉडबैंड वाले घरों की संख्या महज 12.5 लाख है जबकि 18 करोड़ से अधिक घरों में टीवी है।
रिलायंस समूह के चेयरमैन मुकेश अंबानी ने सालाना आम बैठक में घोषणा की थी कि कंपनी देश के 1,100 से अधिक शहरों में अपनी सेवाएं देगी। एक ही ऑफर के तहत ये सारी सुविधाएं उपलब्ध होंगी और इसके लिए एक ही बिल होगा। जियो खुद को केवल मीडिया और मनोरंजन तक ही सीमित नहीं रखना चाहती है बल्कि उपभोक्ताओं को शैक्षणिक सामग्री भी मुहैया कराएगी।
इसके लिए कंपनी ने हाल ही में एजुटेक कंपनी एम्बाइब में बहुलांश हिस्सेदारी 18 करोड़ डॉलर में खरीदी थी। साथ ही कंपनी की फाइबर के जरिए 19 लाख से अधिक स्कूलों और सैकड़ों विश्वविद्यालयों तथा कॉलेजों से भी जुड़ने की योजना है। सूत्रों ने कहा कि हेल्थकेयर कंटेंट और कनेक्टिविटी मुहैया कराने के लिए भी इसी तरह की रणनीति अपनाई जा रही है और पूरे देश में अस्पतालों के साथ बातचीत चल रही है। जियो गीगाबिट पैसिव ऑप्टिकल नेटवर्क के साथ नई प्रौद्योगिकी का इस्तेमाल कर रही है।