राजनाथ सिंह की सीबीआई की हिरासत में CM योगी के MLA कुलदीप सिंह सेंगर,बलात्कार की पुष्टि के लिए नार्को टेस्ट के लिए सेंगर तैयार ,पीड़िता ने किया इंकार,इलाहाबाद हाईकोर्ट ने सेंगर को गिरफ्तार करने का दिया आदेश,गृह मंत्री ने कहा पीड़ित परिवार को इंसाफ मिलना चाहिए’

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तहलका टुडे टीम

लखनऊ-इलाहाबाद हाईकोर्ट ने आरोपी बीजेपी विधायक कुलदीप सिंह सेंगर को गिरफ्तार करने का आदेश दिया है. कोर्ट ने कहा है कि आरोपी की हिरासत काफी नहीं है उसे तुरंत गिरफ्तार किया जाना चाहिए. अदालत ने साथ में राज्य सरकार से 2 मई तक प्रगति रिपोर्ट सौंपने के लिए कहा है. कुलदीप सिंह सेंगर बलात्कारी हैं कि नही को लेकर सीबीआई ने शुक्रवार को तड़के उनके इंदिरा नगर स्थित आवास से हिरासत में ले लिया। हिरासत के बाद विधायक को हजरतगंज स्थित सीबीआई कार्यालय में ले जाया गया है। जहां उनसे पूछताछ की जा रही है। सीबीआई टीम ने एसआईटी को भी तलब किया है। जो उन्हें इस मामले में जुड़े अब तक के दस्तावेज सौंपेगी। भाजपा विधायक कुलदीप सिंह सेंगर पर किशोरी ने दुष्कर्म का आरोप लगाया है।वही तहलका टुडे से बोले राजनाथ सिंह, ‘पीड़ित परिवार को इंसाफ मिलना चाहिए’

कुलदीप को हिरासत में लेने के बाद सीबीआई टीम शुक्रवार की भोर में ही माखी की थाने पहुंची। टीम ने इस प्रकरण से जुड़े तमाम दस्तावेजों को अपने कब्जे में ले लिया है। मामले की जांच कर रही एसआईटी टीम के सदस्य भी थाने पहुंच गए। जून महीने से लेकर अब तक पीड़िता की ओर से की गई शिकायतों के बारे में जानकारी ली जा रही है। मामले में पीड़िता की तरफ से लिखाए गए रिपोर्ट पर भी गहनता से जांच पड़ताल की जा रही है। सफेद रंग की कार में सवार होकर सीबीआई टीम के सदस्य माखी थाने पहुंचे तो यहां तैनात पुलिसकर्मियों में हड़कंप मच गया।

इसके कुछ देर बाद सीबीआई की एक टीम उन्नाव के उस होटल में पहुंची जहां रेप पीड़िता और उसका परिवार रुका हुआ है, यहां सीबीआई की टीम पीड़िता और उसके परिवार वालों से बारी-बारी से बात कर रही है।

सीबीआई 3 टीमों में बंटकर कर रही काम
सीबीआई ने उन्नाव में ताबड़तोड़ छापेमारी शुरू कर दी है। गुरुवार के तड़के भाजपा विधायक कुलदीप सिंह सेंगर को हिरासत में लेने के बाद सीबीआई उन्नाव पहुंची। मां की थाने में थानेदार राजेश सिंह और सफीपुर के प्रभारी सीओ अमरीश भदोरिया से करीब एक घंटे से पूछताछ की जा रही है। वही नगर के ग्रीन पैलेस होटल में ठहरी पीड़िता के यहां पहुंची 10 सदस्य सीबीआई टीम ने पूछताछ की। 7 सदस्य यहीं पर ठहर गए जो लगातार डेढ़ घंटे से तमाम बिंदुओं पर पूछताछ कर रहे हैं। वही 3 सदस्य जेल और अस्पताल में जाकर मामले की तहकीकात कर रहे हैं।

बोेले सीएम, संज्ञान में नहीं लाया गया पूरा मामला

चित्रकूट में मुख्यमंत्री योगी ने उन्नाव प्रकरण पर कहा कि पहले उनके संज्ञान में पूरा मामला नहीं लाया गया। पीड़िता से मिलने के बाद तत्काल एसआईटी गठित कर जांच कराई गई। सीबीआई जांच की भी कराई जा रही है, आरोपी विधायक गिरफ्तार हो गए होंगे। उन्हेंने कहा कि अपराधी कोई भी हो सभी के लिए एक सजा और एक कानून है, अब कानून का राज चलेगा।

पढ़ें कुलदीप सिंह सेंगर से जुड़ी 25 बड़ीं बातें

1-आजादी के बाद से ही अपने गांव की राजनीति पर कुलदीप परिवार का कब्जा रहा है। विरोधियों को पटखनी देने के लिए कुलदीप ने तमाम मोहरे तैयार किए थे। पीड़ित परिवार के लोग भी उनके मोहरे थे।

2-कुलदीप को राजनीति अपने नाना बाबू सिंह से विरासत में मिली थी।

3-कुलदीप के पिता मुलायम सिंह फतेहपुर के रहने वाले थे। कुलदीप के नाना के कोई बेटा नहीं था। इसलिए उन्होंने बेटी-दामाद को अपने पास ही बुला लिया। कुलदीप और उनके दो भाइयों मनोज सिंह और अतुल सिंह का यहीं जन्म हुआ और पले-बढ़े।

4-उन्नाव के माखी थाना क्षेत्र के सराय थोक पर उनका ननिहाल है. वह यहीं आकर बस गए। कुलदीप सेंगर ने यूथ कांग्रेस से राजनीति की शुरूआत की

5-1987/88 में कुलदीप गांव के निर्विरोध प्रधान चुने गए तो उनकी उम्र 21 साल से कम बताकर विरोधियों ने चैलेंज कर दिया था। तब मेडिकल परीक्षण में यह बात सामने आई कि उनकी उम्र 21 वर्ष है। कुलदीप करीब सात साल तक प्रधान रहे।

6-गांव की प्रधानी पर करीब 59 साल से कुलदीप के परिवार का कब्जा है।

7-कुलदीप सिंह सेंगर लगातार चार बार से विधायक हैं और कभी चुनाव नहीं हारे। इतना ही नहीं तीन बार उनका निर्वाचन क्षेत्र अलग-अलग रहा है. कुलदीप 2002 में पहली बार सदर से विधायक बने।

8-2007 में बसपा ने उन्हें निकाला तो उन्होंने सपा का दामन थाम लिया। सपा ने बांगरमऊ से टिकट दिया और वह फिर विधायक बने।

9-सपा ने 2012 में भगवंत नगर सीट से टिकट दिया और यहां से भी जीते। जिला पंचायत अध्यक्ष के टिकट पर कुलदीप का अखिलेश से मनमुटाव हो गया और भाजपा में चले गए। भाजपा ने बांगरमऊ से टिकट दिया और फिर विधायक चुने गए।

10-कुलदीप सिंह सेंगर ने 2007 में चुनावी घोषणा पत्र में संपत्ति 36 लाख बताई थी और 2012 में उनकी संपत्ति एक करोड़ 27 लाख की हो गई थी.

11-2017 के चुनावी घोषणा पत्र के मुताबिक, उनकी संपत्ति 2 करोड़ 14 लाख तक पहुंच गई।

12-विधायक कुलदीप सेंगर के ख़िलाफ़ दर्ज एफआईआर में आईपीसी की धारा 363 (अपहरण), 366 (अपहरण कर शादी के लिए दवाब डालना), 376 (बलात्‍कार), 506(धमकाना) और पॉस्‍को एक्‍ट के तहत मामला दर्ज किया है।

13- मामला बीते आठ अप्रैल को तब खुला जब कथित बलात्कार पीड़िता ने लखनऊ में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के आवास के सामने आत्मदाह की कोशिश की। उसका आरोप था कि पुलिस भाजपा विधायक कुलदीप सिंह सेंगर के ख़िलाफ़ कार्रवाई नहीं कर रही है।

14-भाजपा के आरोपी विधायक कुलदीप सिंह सेंगर बुधवार देर रात अचानक राजधानी लखनऊ में वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक के आवास के बाहर दिखे. ख़बर थी कि वह आत्मसमर्पण करेंगे लेकिन वह बिना आत्मसमर्पण के ही समर्थकों के साथ वापस चले गए।

15-कुलदीप सिंह सेंगर राजा भैया गुट के अहम सदस्य हैं। वहीं, सपा से बगावत कर पत्नी संगीता सेंगर को जिला पंचायत अध्यक्ष बनवाया। इनके भाई मनोज सेंगर ब्लॉक प्रमुख रह चुके हैं।

16-.कुलदीप सिंग सेंगर पर अवैध खनन और अवैध तरीके से टोल लगाकर वसूली करने का भी आरोप लग चुका है।

17-उन्नाव में एक चैनल के रिपोर्टर ने आरोपी विधायक के खिलाफ अवैध खनन की खबर दिखाया, जिस पर रिपोर्टर के खिलाफ दो मुकदमे दर्ज कराये गए।

18-उन्नाव का कोई भी ठेका बिना कुलदीप सेंगर की मर्जी के किसी को नहीं मिल सकता है. साइकिल के ठेके से लेकर अवैध होटल चलाने और ऑटो स्टैंड से लेकर गाड़ियों से अवैध वसूली तक के कारोबार में विधायक का परिवार शामिल है।

19-चौदह साल पहले उन्नाव में किसी बात को लेकर विधायक पक्ष से एक पत्रकार की कहा-सुनी हो गई थी. इसे रोकने के लिए जब पुलिस पहुंची तो विधायक के भाई अतुल सेंगर ने पुलिस पर फायरिंग कर दी थी, जिसमें डिप्टी एसपी को पेट में गोली लग गई थी।

20-सेंगर ठाकुर बिरादरी के नेता हैं और पीड़ित परिवार दलित है. सेंगर की पत्नी जिला पंचायत अध्यक्ष रही हैं।

21-भाई ब्लॉक प्रमुख रह चुके हैं. कहा जाता है कि सेंगर प्रदेश भर के ठाकुर नेताओं के करीबी हैं।

22-किसान परिवार से ताल्लुक रखने वाले कुलदीप सिंह सेंगर का आभूषण का भी व्यापार है।

23-22 जुलाई 2017 को पीड़िता ने पीएम-सीएम को चिट्ठी लिख विधायक कुलदीप सेंगर पर रेप का आरोप लगाया था।

24-30 अक्टूबर 2017 को विधायक समर्थकों ने पीड़िता के परिवार पर मानहानि का केस किया। पीड़िता के घरवालों पर विधायक को रावण बताने वाला पोस्टर लगाने का आरोप लगाया।

25-अब इस मामले में सीबीआइ कुलदीप सेंगर से सवाल पूछ रही है। सेंगर को सीबीआइ ने इंदिरा नगर स्थित उनके घर से सुबह करीब 4.30 बजे हिरासत में लिया है।

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