तहलका टुडे टीम
मुजफ्फरनगर,भू माफियाओं के खिलाफ चल रहा मुख्यमंत्री योगी आदित्य नाथ का बुलडोजर का असर अब समाज के गद्दारों,गसीबो वकफखोरो गुंडों माफियाओ पर पड़ने लगा है,जीरो टॉलरेंस नीति के तहत शिया सेंट्रल वक्फ बोर्ड के चेयरमैन अली जैदी ने एक बार फ़िर ये साबित किया की अब बोर्ड किसी सिफ़ारिश और दबाव के सामने नहीं झुकेगा और वक्फ के सारे मामले नियत साफ के चलते ही तय किए जायेंगें I
इसी क्रम में गंगेरू ज़िला मुजफ्फर नगर के एक इमामबाड़े के मामले में शिया वक्फ बोर्ड के चेयरमैन के एक निर्णय से देश व विदेश में बैठे वक्फ माफियाओं में हड़कंप मचा दिया है।
गांव गंगेरू वक्फ छोटा इमामबाड़ा पंचायती में बोर्ड के एक फैसले से जहां गांव की आजादारो में खुशी की लहर दौड़ गई वहीं वक्फ बोर्ड मैं बीते काफी समय से वसीम त्यागी के भ्रष्टाचार के चलते जो मुतवल्ली भ्रष्टाचार की मलाई खा रहे थे उनको मूंह की खाना पड़ी है I
वसीम त्यागी द्वारा रिश्वत के चलते गांव गंगेरू के वक्फ छोटा इमामबाड़ा को निजी संपत्ति बनाने की साज़िश रची गई थी जिसपर गांव की अवाम को आपत्ति थी इसी लिए कुछ लोगों के द्वारा वक्फ बोर्ड में भेजी गई 10 से भी ज़ियादा शपथपत्रों का संज्ञान लेते हुवे बोर्ड ने कार्रवाई शुरू की और इस वक्फ मैं होने वाली साज़िश का पर्दा फाश करते हुवे काफी सालों से इस वक़्फ़ की फाइल में हुई जालसाज़ी का पता लगा लिया I
वक्फ छोटा इमामबाड़ा पंचायती आवामी वक्फ है जिसको एक दूसरे वक्फ के साथ मिलाकर हड़पने की साज़िश की गई थी इसी साजिश को देखते हुवे और शिकायत कर्ताओं की आपत्ति के सिद्ध हो जाने के चलते बोर्ड ने मुतवल्ली पर कानूनी प्रक्रिया के तहत कार्रवाई करते हुवे उसकी अवधि को समाप्त करदिया और THE LEADERS मीडिया हाउस के चेयरमैन अशरफ ज़ैदी की निगरानी में गांव के ही लोगों की एक कमेटी गठित कर दी ताकि इमामबाड़े की सही से देखभाल हो सके
दिल्ली से सीनियर पत्रकार और मशहूर मासिक इंग्लिश पत्रिका The Leaders के एडिटर इन चीफ अशरफ ज़ैदी ने तहलका टुडे से बात करते हुए कहा: हम चेयरमैन अली जैदी साहब के आभारी हैं की उन्होंने वक्फ माफियाओं के दबाओ को नकारते हुवे एक छोटे से गांव के उन लोगों की आवाज को सुना जो लखनऊ तक कोई रसाई नही रखते और उन सीधे साधे लोगों को उनकी आवाज को सुनकर भू माफियाओं के मुंह से करोड़ों के वक्फ को आजाद करने की शुरआत की ।
उन्होने कहा: पिछले 10 सालों से वक्फ बोर्ड के लिए आफताबे शरीयत मौलाना कल्बे जवाद साहब के नेतृत्व में जो लड़ाई लड़ी उसी का नतीजा है की अली जैदी जैसा इंसाफ पसंद शख्स इस बोर्ड का आज चेयरमैन है जो बोर्ड की ज़रूरत थीI
गंगेरू के वक्फ संपत्तियों के मामले मैं दिया गया उनका यह फैसला सरहनीय है और वक्फ में बंदर बांट करने वालों के लिए एक पैगाम भी है. यह हक की जीत है और गंगेरू की अवाम की जीत है और देश विदेश में बैठे वक्फ माफियाओं की हार हैI
प्रदेश सरकार के वक्फ संपत्ति को लेकर जारी किए गए शासनादेश को देखते हुए हमे उम्मीद है जिला प्रशासन इस पर अवैध कब्जा किए हुए लोगो के खिलाफ कड़ी कार्यवाही कर उनसे वक्फ संपत्तियों को छुड़ाकर एक बड़ा कार्य करेगा।