नई दिल्ली । मलेशिया की आईएचएच हेल्थकेयर ने बताया है कि फोर्टिस हेल्थकेयर लिमिटेड ने उसकी ओर से कंपनी को टेकओवर करने के लिए दिए गए ऑफर को स्वीकार करने से मना कर दिया है। इसे आईएचएच हेल्थकेयर के लिए एक बड़ा झटका माना जा सकता है।
आईएचएच हेल्थकेयर जो कि एशिया की सबसे बड़ी स्वास्थ्य सेवा प्रदाता कंपनी है ने कंपनी को खरीदने के लिए पिछले हफ्ते करीब 1.3 बिलियन डॉलर की पेशकश की थी जो कि मणिपाल हेल्केयर प्राइवेट लिमिटेड की ओर से से दिए गए ऑफर (1.2 बिलियन डॉलर) से अधिक है। आईएचएच की ओर से की गई घोषणा के बाद सोमवार को फोर्टिस के शेयर्स में 2 फीसद की गिरावट देखने को मिली, वहीं यह गिरावट शाम साढ़े पांच बजे तक 1.87 फीसद के आसपास देखी गई।
क्या था आईएचएच का प्रस्ताव?
फोर्टिस हेल्थकेयर के मुताबिक उसे आईएचएच हेल्थकेयर बरहद की ओर से नॉन-बाइडिंग एक्सप्रेशन ऑफ इंटरेस्ट प्राप्त हुआ है, जो कि कंपनी की संभावित भागेदारी खरीद के लिए है। इतना ही नहीं कंपनी ने मलेशियाई हेल्थकेयर प्रमुख की ओर से बोर्ड को भेजे गए एक पत्र को भी साझा किया, जिसमें फोर्टिस के प्रति शेयर के लिए 160 रुपए की पेशकश की गई थी। नियामकीय फाइलिंग में फोर्टिस हेल्थकेयर ने कहा, “कंपनी के बोर्ड ऑफ डायरेक्टर्स को आईएचएच हेल्थकेयर बरहद की ओर से नॉन-बाइडिंग एक्सप्रेशन ऑफ इंटरेस्ट प्राप्त हुआ है, जो कि कंपनी की संभावित भागेदारी खरीद के लिए है।”
फोर्टिस हेल्थकेयर का बोर्ड हर संभव विकल्प पर करेगा विचार–
फोर्टिस हेल्थकेयर ने सोमवार को बताया कि बोर्ड इस हफ्ते एक अहम बैठक करने जा रहा है जिसमें उन सभी विकल्पों पर विचार किया जाएगा जो उन्हें प्राप्त हुए हैं। हेल्थकेयर सेक्टर की दिग्गज कंपनी की ओर से जारी किए गए बयान में कहा गया, “बोर्ड इस हफ्ते बैठक करने जा रहा है और वो उन सभी विकल्पों पर विचार करेगा और उन प्रस्तावों के क्रियान्वयन के बारे में विचार करेगा जो कि कंपनी, कर्मचारियों और शेयरधारकों के हित में होंगे।”
इस एलान की अहमियत इसलिए भी बढ़ जाती है क्योंकि कंपनी ने 14 अप्रैल 2018 को ही बताया था कि उसे आईएचएच बरहद की ओर से एक नॉन बाइंडिंग एक्सप्रेशन ऑफ इंटरेस्ट (ईओआई) प्राप्त हुआ है, यानी वो इसमें हिस्सेदारी खरीदना चाहता है। आईएचएच ने 11 अप्रैल 2018 को कंपनी बोर्ड को एक पत्र में लिखा था कि वो फोर्टिस के प्रति शेयर के लिए 160 रुपए देने को तैयार है। वहीं 12 अप्रैल को हीरो और डाबर भी अपना प्रस्ताव कंपनी को सौंप चुके हैं।